तरावड़ी Taraori | |
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तरावड़ी में पृथ्वीराज चौहान का किला | |
निर्देशांक: 29°47′N 76°56′E / 29.78°N 76.94°Eनिर्देशांक: 29°47′N 76°56′E / 29.78°N 76.94°E | |
देश | भारत |
राज्य | हरियाणा |
ज़िला | करनाल ज़िला |
जनसंख्या (2011) | |
• कुल | 25,944 |
भाषा | |
• प्रचलित | हरियाणवी, पंजाबी, हिन्दी |
समय मण्डल | भारतीय मानक समय (यूटीसी+5:30) |
पिनकोड | 132116 |
आई॰एस॰ओ॰ ३१६६ कोड | IN-HR |
वाहन पंजीकरण | HR 05 (निजि) & HR 45 (वाणिज्यिक) |
लिंगानुपात | 747:1000 ♂/♀ |
वेबसाइट | www |
तरावड़ी (Taraori) भारत के हरियाणा राज्य के करनाल ज़िले में स्थित एक नगर है।[1][2][3]
तरावड़ी, जिसका एतिहासिक नाम तराइन था, हरियाणा में राष्ट्रीय राजमार्ग 44 पर कुरूक्षेत्र व करनाल के मध्य स्थित है। यहाँ पर बासमती चावलों की खेती की जाती है। इन चावलों का निर्यात विदेशों में किया जाता है।
तरावड़ी करनाल की उत्तर दिशा में स्थित ऐतिहासिक शहर है। इतिहास में यह नगर तराइन का युद्ध अथवा तरावड़ी का युद्ध (1191 और 1192) के कारण प्रसिद्ध है, जो कि युद्धों की एक ऐसी शृंखला थी, जिसने पूरे उत्तर भारत को मुस्लिम नियंत्रण के लिए खोल दिया।
यहां पर औरंगजेब के पुत्र आजम का जन्म हुआ था। आजम के नाम पर इसका नाम आजमाबाद रखा गया था। बाद में यह आजमाबाद से वापस तरावड़ी हो गया। औरंगजेब ने इसके चारों तरफ दीवार बनवाई थी और चारदीवारी के अन्दर तालाब और मस्जिद का निर्माण भी कराया था। यह तालाब और मस्जिद बहुत खूबसूरत है। इसे देखने के लिए पर्यटक प्रतिदिन यहां आते हैं।
राष्ट्रीय राजमार्ग 44 पर स्थित निकटतम नगर - करनाल, कुरूक्षेत्र।
निकटतम रेलवे स्टेशन - तरावड़ी। रेल मार्ग - दिल्ली अंबाला मुख्य रेल मार्ग।
निकटतम हवाई अड्डा - चंडीगढ़। करनाल में प्रस्तावित।