अन्य नाम | मुक्की बॉक्सिंग |
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फोकस | स्ट्राइकिंग |
Hardness | फुल-काँटैक्ट |
मूल देश | वाराणसी, भारत |
ओलम्पिक खेल | नहीं |
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भारतीय युद्धकलाएँ |
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शैलियाँ |
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ऐतिहासिक व्यक्तित्व |
Notable Practitioners |
संबंधित |
मुष्टियुद्ध उत्तर भारत के वाराणसी (बनारस) का एक निःशस्त्र मार्शल आर्ट है।[1] दक्षिणपूर्वी एशियाई किकबॉक्सिंग की शैलियों की तरह इसमें पंच, किक, घटुने तथा कोहनी की स्ट्राइक का प्रयोग होता है हालाँकि पंचों की प्रमुखता होती है।[उद्धरण चाहिए]
पहले वाराणसी में इसके मुकाबले नियमित रूप से होते थे पर बाद में मुक्केबाजों के समर्थकों के बीच हो जाने वाली लड़ाइयों के कारण इन्हें प्रतिबन्धित कर दिया गया। काफी समय तक गैरकानूनी रूप से मुकाबले जारी रहे जो कि १९६० के दशक के आसपास से लगभग खत्म हो गये।[उद्धरण चाहिए]