रहली Rehli | |
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निर्देशांक: 23°38′13″N 79°03′43″E / 23.637°N 79.062°Eनिर्देशांक: 23°38′13″N 79°03′43″E / 23.637°N 79.062°E | |
देश | भारत |
प्रान्त | मध्य प्रदेश |
ज़िला | सागर ज़िला |
जनसंख्या (2011) | |
• कुल | 30,329 |
भाषाएँ | |
• प्रचलित | हिन्दी |
समय मण्डल | भारतीय मानक समय (यूटीसी+5:30) |
रहली (Rehli) भारत के मध्य प्रदेश राज्य के सागर ज़िले में स्थित एक नगर है। य्ह इसी नाम की तहसील का मुख्यालय भी है और एक विधानसभा निर्वाचनक्षेत्र भी है। [1][2]
कहावतों के अनुसार रहली को चौदहवीं शताब्दी में दौआ यादवों ने बसाया और यह छत्रसाल बुंदेला के राज्य में रहा। उसने 1731 में इसे पेशवा बाजीराव को दे दिया, फिर अंग्रेजों ने इस पर कब्जा कर लिया। इस क्षेत्र में अकूत पुरा संपदा बिखरी पड़ी है। सुनार नदी के किनारे रहली का सूर्य मंदिर लोकप्रिय पर्यटन स्थल है। वहीं ढाना में दऊआ व ब्राह्मण हजारी(पाठक) घराने के राजाओं ने शासन किया। गढ़िया का निर्माण सन 1500 के पहले हुआ मूलतः ढाना में दौआ यादवों का शासन था। सागर जिले में एक नई तहसील जैैसीनगर भी बनाई गई है। रहली धार्मिक क्षेत्र में भी अत्यधिक महत्वपूर्ण स्थान निभाती है। यहां पर मां हरसिद्धि रानगिर एवं टिकीटोरिया मंदिर काफी चमत्कारी व प्रसिद्ध धार्मिक स्थल है जहां पर श्रद्धालु हजारों की संख्या में पहुंचते है। रहली में अनेक छोटे-छोटे उद्योग भी है जिनमें पापड़ मशीन , बीड़ी प्रिंटिंग मशीन आदि।
रहली सागर-जबलपुर मार्ग पर स्थित है। यह सागर से 40 कि. मी. दूर है। यहाँ दैनिक बस सेवा उपलब्ध हैं। जो इसे आस पास के शहरों से जोड़ती है।