राजिम Rajim | |
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राजिम का राजीव लोचन मंदिर | |
निर्देशांक: 20°57′54″N 81°52′52″E / 20.965°N 81.881°Eनिर्देशांक: 20°57′54″N 81°52′52″E / 20.965°N 81.881°E | |
देश | भारत |
प्रान्त | छत्तीसगढ़ |
ज़िला | गरियाबंद ज़िला |
जनसंख्या (2011) | |
• कुल | 14,090 |
भाषा | |
• प्रचलित | हिन्दी, छत्तीसगढ़ी |
समय मण्डल | भारतीय मानक समय (यूटीसी+5:30) |
राजिम (Rajim) भारत के छत्तीसगढ़ राज्य के गरियाबंद ज़िले में स्थित एक नगरपंचायत है। राजिम महानदी के तट पर स्थित का प्रसिद्ध तीर्थ है। इसे छत्तीसगढ़ का "प्रयाग" भी कहते हैं।[1][2]
यहाँ के प्रसिद्ध राजीव लोचन मंदिर में भगवान विष्णु प्रतिष्ठित हैं। प्रतिवर्ष यहाँ पर माघ पूर्णिमा से लेकर शिवरात्रि तक एक विशाल मेला लगता है। यहाँ पर महानदी, पैरी नदी तथा सोंढुर नदी का संगम होने के कारण यह स्थान छत्तीसगढ़ का त्रिवेणी संगम कहलाता है। संगम के मध्य में कुलेश्वर महादेव का विशाल मंदिर स्थित है। कहा जाता है कि वनवास काल में श्री राम जी ने इस स्थान पर अपने कुलदेवता महादेव जी की पूजा की थी। इस स्थान का प्राचीन नाम कमलक्षेत्र है। ऐसी मान्यता है कि सृष्टि के आरम्भ में भगवान विष्णु के नाभि से निकला कमल यहीं पर स्थित था और ब्रह्मा जी ने यहीं से सृष्टि की रचना की थी। इसीलिये इसका नाम कमलक्षेत्र पड़ा।
राजिम को छत्तीसगढ़ का प्रयाग मानते हैं, यहाँ पैरी नदी, सोंढुर नदी और महानदी का संगम है। संगम में अस्थि विसर्जन तथा संगम किनारे पिंडदान, श्राद्ध एवं तर्पण किया जाता है।