सचिन देव बर्मन | |
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भारत के 2007 के टिकट पर बर्मन |
एस॰डी॰ बर्मन के नाम से विख्यात सचिन देव बर्मन हिन्दी और बांग्ला फिल्मों के विख्यात संगीतकार और गायक थे। उन्होंने अस्सी से भी ज़्यादा फ़िल्मों में संगीत दिया था। उनकी प्रमुख फिल्मों में मिली, अभिमान, ज्वैल थीफ़, गाइड, प्यासा, बंदनी, सुजाता, टैक्सी ड्राइवर जैसी अनेक इतिहास बनाने वाली फिल्में शामिल हैं।
संगीत की दुनिया में उन्होंने सितारवादन के साथ कदम रखा। कलकत्ता विश्वविद्यालय से पढ़ाई करने के बाद उन्होंने 1932 में कलकत्ता रेडियो स्टेशन पर गायक के तौर पर अपने पेशेवर जीवन की शुरुआत की। इसके बाद उन्होंने बाँग्ला फिल्मों तथा फिर हिंदी फिल्मों की ओर रुख किया।
बर्मनदा के बारे में फ़िल्म इंडस्ट्री में एक बात प्रचलित थी कि वो तंग हाथ वाले थे यानी ज़्यादा खर्च नहीं करते थे। उन्हें पान खाने का बेहद शौक था और वो अपने पान भारतीय विद्या भवन, चौपाटी से मंगाते थे। वो फ़ुटबॉल के शौकीन थे। एक बार मोहन बागान की टीम हार गई तो उन्होंने गुरुदत्त से कहा कि आज वो खुशी का गीत नहीं बना सकते हैं। यदि कोई दुख का गीत बनवाना हो तो वो उसके लिए तैयार हैं। दरअसल वो जो भी काम करते थे, पूरी तल्लीनता के साथ करते थे।
मिली
अभिमान
ज्वेल थीफ
गाइड
प्यासा
बंदनी। ये उनकी कुछ प्रमुख फिल्में हैं।
एसडी बर्मन न सिर्फ़ बेहतरीन संगीतकार थे बल्कि लोक धुनों को सजाने की कला में भी माहिर थे। उनके गीतों को 40 से 50 साल हो गए हैं लेकिन आज भी वे फीके नहीं पड़े हैं और आज भी उन गानों को गुनगुनाने का दिल करता है।
इन गीतों में संगीत भी स्वयं उनका ही है: