हाखा चिन | |
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लई, लई होल्ह | |
बोलने का स्थान | बर्मा, भारत, बंग्लादेश |
तिथि / काल | २००१ |
समुदाय | चिन |
मातृभाषी वक्ता | १,३०,००० |
भाषा परिवार |
चीनी-तिब्बती
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लिपि | रोमन लिपि, बर्मी लिपि |
भाषा कोड | |
आइएसओ 639-3 | cnh |
हाखा चिन (Hakha Chin), जिसे लई (Lai), बौन्गशे (Baungshe) और पावी (Pawi) भी कहते हैं। इसके मातृभाषी अधिकतर भारत के मिज़ोरम राज्य में और बर्मा के चिन राज्य में रहते हैं। लई बोलने वाले कम संख्या में बंग्लादेश के कुछ सीमावर्ती क्षेत्रों में भी मिलते हैं। वैसे तो बर्मा के चिन राज्य में औपचारिक रूप से कोई राजभाषा नहीं है लेकिन अधिकतर लोग वहाँ आपस में लई ही बोलते हैं और प्रान्तीय राजधानी हाखा में भी लई ही बोली जाती है। यह काफ़ी हद तक मिज़ो भाषा से भी सम्बन्धित है।[1]